प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपनी सरकार में सबको चौंका देने वाला बदलाव जुलाई 2021 में किया था, जब उन्होंने पार्टी के कई बड़े नेताओं को सरकार से बाहर कर दिया था। एक साथ 43 लोगों ने शपथ ली थी, जिनमें 36 नए चेहरे थे और सात लोगों को प्रमोशन मिली थी। उस बदलाव में रविशंकर प्रसाद से लेकर प्रकाश जावडेकर, डॉक्टर हर्षवर्धधन, थावरचंद गहलोत, रमेश पोखरियाल निशंक जैसे नेताओं को बाहर किया गया था। एक बार फिर ऐसे ही बदलाव की चर्चा हो रही है। कहा जा रहा है कि प्रधानमंत्री मोदी अगर सहयोगी पार्टियों के एकाध सदस्यों को एडजस्ट करने या बिहार जैसे चुनावी राज्यों से किसी को सरकार में शामिल करने भर का फैसला करते हैं तब तो फेरबदल छोटी होगी लेकिन अगर उन्होंने सरकार की ओवरहॉलिंग का फैसला किया तो बहुत बड़ा बदलाव हो सकता है।
जानकार सूत्रों के मुताबिक कई बड़े मंत्रियों पर तलवार लटक रही है। सबसे ज्यादा चर्चा इस बात की है कि विदेश मंत्री एस जयशंकर की छुट्टी हो सकती है। पिछले कुछ दिनों से एक के बाद एक कई कूटनीतिक मोर्चे पर भारत को शर्मिंदगी हुई है। हालांकि जी-7 सम्मेलन का न्योता प्रधानमंत्री मोदी को मिल गया है फिर भी जयशंकर की कुर्सी खतरे में है। शशि थरूर की नजर उनकी कुर्सी पर है। ऐसे ही वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण को भी हटाने की चर्चा है। उनकी जगह किसी नए व्यक्ति को वित्त मंत्रालय का जिम्मा मिल सकता है। कई आर्थिक जानकारों के नाम की चर्चा हो रही है। निर्मला की जगह किसी गैर राजनीतिक चेहरे के ही आने की संभावना है। पेट्रोलियम मंत्री हरदीप सिंह पुरी के भी हटने की चर्चा है। अगर किसी मंत्री को राष्ट्रीय अध्यक्ष बनाया जाता है तो उसकी जगह भी कोई नया चेहरा आएगा। मोदी सरकार के तीन मंत्रियों शिवराज सिंह चौहान, धर्मेंद्र प्रधान और मनोहर लाल खट्टर के नाम की चर्चा है।