विधानसभा और लोकसभा चुनाव में हार के बाद पस्त पड़े भारत राष्ट्र समिति के नेता के चंद्रशेखर राव ने ताकत दिखाई है। उन्होंने एक बड़ी रैली करके तेलंगाना की राजनीति में बड़ी वापसी का संकेत दिया है। गौरतलब है कि 2023 के अंत में हुए विधानसभा चुनाव में भारत राष्ट्र समिति हार गई थी और चंद्रशेखर राव की 10 साल की सत्ता का अंत हुआ था। उसके बाद 2024 के लोकसभा चुनाव में भी पार्टी ने बहुत खराब प्रदर्शन किया। विधानसभा चुनाव के बाद से ही कांग्रेस राव की पार्टी तोड़ते हुए है। उसके नेता और कार्यकर्ता दोनों का मनोबल टूटा हुआ था और खुद चंद्रशेखर राव पस्त थे। उनके बेटे केटी रामाराव राजनीति संभाल रहे थे।
लेकिन अब चंद्रशेखर राव फिर सक्रिय हुए हैं। उन्होंने अपनी पार्टी की स्थापना के 25 साल पूरे होने के मौके पर वारंगल के बाहरी हिस्से में एक बड़ी रैली की। कई जानकार इस रैली की तुलना विधानसभा चुनाव से पहले हुई राहुल गांधी की रैली से कर रहे हैं। गौरतलब है कि राहुल की उसी रैली से कांग्रेस का माहौल बना था। चंद्रशेखर राव और उनकी पार्टी ने बड़ा दम लगाया और बड़ी रैली की। इसमें उन्होंने कांग्रेस पर हमला किया राज्य के हितों की अनदेखी करने का आरोप लगाया। चंद्रशेखर राव ने जवाहर लाल नेहरू पर तेलंगाना का विलय आंध्र प्रदेश में करवाने और इंदिरा गांधी पर अलग तेलंगाना राज्य के लिए प्रदर्शन कर रहे चार सौ लोगों की हत्या कराने का आरोप लगाया। जाहिर है उनकी राजनीति की प्राथमिकता कांग्रेस को कमजोर करना है। इसलिए वे अभी भाजपा से नहीं लड़ रहे हैं।