governor

  • आग से मत खेलिए

    गेंद फिर तमिलनाडु के राज्यपाल के पाले में है। अब उनसे अपेक्षा रहेगी कि वे संविधान के प्रावधान एवं उसकी भावना के मुताबिक आचरण करें, ताकि उनके और राज्य सरकार के बीच बढ़ते गए टकराव को हल करने की दिशा में आगे बढ़ा जा सके। विधानसभाओं से पारित विधेयकों को बिना कोई कारण बताए लटकाए रहने के मामले में पिछले दिनों सुप्रीम कोर्ट ने राज्यपालों को सलाह दी थी कि वे आग से ना खेलें। सर्वोच्च न्यायालय ने संविधान की इस व्यवस्था को स्पष्ट किया था कि विधानसभा के पारित विधेयक को राज्यपाल अनिश्चित काल तक अपने पास लंबित नहीं...

  • राज्यपाल से नाराज सुप्रीम कोर्ट

    नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने पंजाब के राज्यपाल के सरकार से टकराव को लेकर गहरी नाराजगी जताई है। सर्वोच्च अदालत ने यहां तक कहा है कि क्या राज्यपाल को पता है कि वे आग से खेल रहे हैं। विधानसभा सत्र को अवैध बताने और सदन से मंजूर विधेयकों को लंबित रखने के मामले में पंजाब सरकार की ओर से दायर याचिका पर सुनवाई करते हुए शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट ने कहा- पंजाब में जो हो रहा है, हम उससे खुश नहीं हैं, यह गंभीर चिंता का विषय है। सुप्रीम कोर्ट ने विधानसभा से पारित विधेयकों को मंजूरी नहीं देने पर...

  • राज करने की इच्छा पर रोक लगाएं राज्यपाल

    भारत में किसी भी सरकारी पद पर बैठा हुआ व्यक्ति अपने को माई-बाप समझता है और उसमें राज करने की इच्छा जोर मारती रहती है। इन दिनों राज्यपालों के मन में ऐसी इच्छाओं का तूफान आया हुआ है। खास कर ऐसे राज्यों में, जहां भाजपा विरोधी पार्टियों की सरकारें हैं। वहां राज्यपाल चाहते हैं कि मुख्यमंत्री की तरह वे भी आदेश दें, लोग उनके आदेशों का पालन करें यानी वे भी राज चलाएं। कई राज्यों में ऐसा देखने को मिला है। ताजा मामला बिहार और पश्चिम बंगाल का है, जहां राजभवनों से विश्वविद्यालयों को आदेश भेजा गया है कि वे...

  • कांग्रेस संसद में अध्यादेश का नहीं करेगी समर्थन

    Delhi Ordinance:- कांग्रेस ने रविवार को साफ किया कि वह दिल्ली में सेवाओं के नियंत्रण पर केंद्र के अध्यादेश का समर्थन नहीं करेगी और देश में ‘संघवाद को ध्वस्त’ करने के केंद्र सरकार के ऐसे किसी भी प्रयास का विरोध करेगी। कांग्रेस महासचिव के सी वेणुगोपाल ने कहा कि पार्टी का रुख साफ है कि वह राज्यपालों के जरिए विपक्षी दलों द्वारा शासित राज्यों में हस्तक्षेप करने के केंद्र के ऐसे किसी भी कदम का विरोध करेगी और उसने संसद में दिल्ली अध्यादेश पर विधेयक आने पर इसका विरोध करने का फैसला किया है। उन्होंने कहा, हम संघवाद को खत्म...

  • मुख्यमंत्री-राज्यपाल विवाद: संवैधानिक हस्तियों के बीच टकराव कितना सही…?

    भोपाल। भारत की आजादी के बाद लगभग दो दशक तक देश में कहीं भी मुख्यमंत्री और राज्यपाल के बीच किसी तरह का विवाद पैदा नहीं हुआ था, उसका मुख्य कारण यह था कि राज्यपालों की नियुक्तियां राजनीतिक आधार पर नहीं, बल्कि व्यक्तित्व के गुणों व योग्यता के आधार पर की जाती थी, किंतु उसके बाद जब से राज्यपालों की नियुक्ति में राजनीति संबंधित शख्स की विचारधारा और सत्तारूढ़ केंद्र के राजनीतिक दल को लाभ पहुंचाने की कसौटी पर मूल्यांकन होने लगा तब से इस महत्वपूर्ण संवैधानिक पद की गरिमा को काफी ठेस पहुंची है, आज देश के एक दर्जन से...

  • ‘21वीं शताब्दी का तीसरा दशक उत्तराखंड का होगा’: राज्यपाल गुरमीत

    भोपाल। भारत की आजादी के बाद लगभग दो दशक तक देश में कहीं भी मुख्यमंत्री और राज्यपाल के बीच किसी तरह का विवाद पैदा नहीं हुआ था, उसका मुख्य कारण यह था कि राज्यपालों की नियुक्तियां राजनीतिक आधार पर नहीं, बल्कि व्यक्तित्व के गुणों व योग्यता के आधार पर की जाती थी, किंतु उसके बाद जब से राज्यपालों की नियुक्ति में राजनीति संबंधित शख्स की विचारधारा और सत्तारूढ़ केंद्र के राजनीतिक दल को लाभ पहुंचाने की कसौटी पर मूल्यांकन होने लगा तब से इस महत्वपूर्ण संवैधानिक पद की गरिमा को काफी ठेस पहुंची है, आज देश के एक दर्जन से...

  • बेटे-बहू से क्षुब्ध बुजुर्ग ने राज्यपाल के नाम कर दी एक करोड़ की जायदाद

    भोपाल। भारत की आजादी के बाद लगभग दो दशक तक देश में कहीं भी मुख्यमंत्री और राज्यपाल के बीच किसी तरह का विवाद पैदा नहीं हुआ था, उसका मुख्य कारण यह था कि राज्यपालों की नियुक्तियां राजनीतिक आधार पर नहीं, बल्कि व्यक्तित्व के गुणों व योग्यता के आधार पर की जाती थी, किंतु उसके बाद जब से राज्यपालों की नियुक्ति में राजनीति संबंधित शख्स की विचारधारा और सत्तारूढ़ केंद्र के राजनीतिक दल को लाभ पहुंचाने की कसौटी पर मूल्यांकन होने लगा तब से इस महत्वपूर्ण संवैधानिक पद की गरिमा को काफी ठेस पहुंची है, आज देश के एक दर्जन से...

  • बिहार सरकार का सुशासन और विकास पर जोर: राज्यपाल

    भोपाल। भारत की आजादी के बाद लगभग दो दशक तक देश में कहीं भी मुख्यमंत्री और राज्यपाल के बीच किसी तरह का विवाद पैदा नहीं हुआ था, उसका मुख्य कारण यह था कि राज्यपालों की नियुक्तियां राजनीतिक आधार पर नहीं, बल्कि व्यक्तित्व के गुणों व योग्यता के आधार पर की जाती थी, किंतु उसके बाद जब से राज्यपालों की नियुक्ति में राजनीति संबंधित शख्स की विचारधारा और सत्तारूढ़ केंद्र के राजनीतिक दल को लाभ पहुंचाने की कसौटी पर मूल्यांकन होने लगा तब से इस महत्वपूर्ण संवैधानिक पद की गरिमा को काफी ठेस पहुंची है, आज देश के एक दर्जन से...

  • उप्र विधानसभा में हंगामे के बीच राज्यपाल का अभिभाषण, विपक्षी ने कहा ‘राज्यपाल वापस जाओ’

    भोपाल। भारत की आजादी के बाद लगभग दो दशक तक देश में कहीं भी मुख्यमंत्री और राज्यपाल के बीच किसी तरह का विवाद पैदा नहीं हुआ था, उसका मुख्य कारण यह था कि राज्यपालों की नियुक्तियां राजनीतिक आधार पर नहीं, बल्कि व्यक्तित्व के गुणों व योग्यता के आधार पर की जाती थी, किंतु उसके बाद जब से राज्यपालों की नियुक्ति में राजनीति संबंधित शख्स की विचारधारा और सत्तारूढ़ केंद्र के राजनीतिक दल को लाभ पहुंचाने की कसौटी पर मूल्यांकन होने लगा तब से इस महत्वपूर्ण संवैधानिक पद की गरिमा को काफी ठेस पहुंची है, आज देश के एक दर्जन से...

  • महाराष्ट्र के मनोनीत राज्यपाल रमेश बैस आज लेंगे शपथ

    भोपाल। भारत की आजादी के बाद लगभग दो दशक तक देश में कहीं भी मुख्यमंत्री और राज्यपाल के बीच किसी तरह का विवाद पैदा नहीं हुआ था, उसका मुख्य कारण यह था कि राज्यपालों की नियुक्तियां राजनीतिक आधार पर नहीं, बल्कि व्यक्तित्व के गुणों व योग्यता के आधार पर की जाती थी, किंतु उसके बाद जब से राज्यपालों की नियुक्ति में राजनीति संबंधित शख्स की विचारधारा और सत्तारूढ़ केंद्र के राजनीतिक दल को लाभ पहुंचाने की कसौटी पर मूल्यांकन होने लगा तब से इस महत्वपूर्ण संवैधानिक पद की गरिमा को काफी ठेस पहुंची है, आज देश के एक दर्जन से...

  • एतराज की बात तो है

    भोपाल। भारत की आजादी के बाद लगभग दो दशक तक देश में कहीं भी मुख्यमंत्री और राज्यपाल के बीच किसी तरह का विवाद पैदा नहीं हुआ था, उसका मुख्य कारण यह था कि राज्यपालों की नियुक्तियां राजनीतिक आधार पर नहीं, बल्कि व्यक्तित्व के गुणों व योग्यता के आधार पर की जाती थी, किंतु उसके बाद जब से राज्यपालों की नियुक्ति में राजनीति संबंधित शख्स की विचारधारा और सत्तारूढ़ केंद्र के राजनीतिक दल को लाभ पहुंचाने की कसौटी पर मूल्यांकन होने लगा तब से इस महत्वपूर्ण संवैधानिक पद की गरिमा को काफी ठेस पहुंची है, आज देश के एक दर्जन से...

  • सुप्रीम कोर्ट के एक और जज बने राज्यपाल

    भोपाल। भारत की आजादी के बाद लगभग दो दशक तक देश में कहीं भी मुख्यमंत्री और राज्यपाल के बीच किसी तरह का विवाद पैदा नहीं हुआ था, उसका मुख्य कारण यह था कि राज्यपालों की नियुक्तियां राजनीतिक आधार पर नहीं, बल्कि व्यक्तित्व के गुणों व योग्यता के आधार पर की जाती थी, किंतु उसके बाद जब से राज्यपालों की नियुक्ति में राजनीति संबंधित शख्स की विचारधारा और सत्तारूढ़ केंद्र के राजनीतिक दल को लाभ पहुंचाने की कसौटी पर मूल्यांकन होने लगा तब से इस महत्वपूर्ण संवैधानिक पद की गरिमा को काफी ठेस पहुंची है, आज देश के एक दर्जन से...

  • पुड्डुचेरी और लक्षद्वीप में नियुक्ति नहीं

    भोपाल। भारत की आजादी के बाद लगभग दो दशक तक देश में कहीं भी मुख्यमंत्री और राज्यपाल के बीच किसी तरह का विवाद पैदा नहीं हुआ था, उसका मुख्य कारण यह था कि राज्यपालों की नियुक्तियां राजनीतिक आधार पर नहीं, बल्कि व्यक्तित्व के गुणों व योग्यता के आधार पर की जाती थी, किंतु उसके बाद जब से राज्यपालों की नियुक्ति में राजनीति संबंधित शख्स की विचारधारा और सत्तारूढ़ केंद्र के राजनीतिक दल को लाभ पहुंचाने की कसौटी पर मूल्यांकन होने लगा तब से इस महत्वपूर्ण संवैधानिक पद की गरिमा को काफी ठेस पहुंची है, आज देश के एक दर्जन से...

  • शिव प्रताप शुक्ला हिमाचल प्रदेश के नए राज्यपाल नियुक्त

    भोपाल। भारत की आजादी के बाद लगभग दो दशक तक देश में कहीं भी मुख्यमंत्री और राज्यपाल के बीच किसी तरह का विवाद पैदा नहीं हुआ था, उसका मुख्य कारण यह था कि राज्यपालों की नियुक्तियां राजनीतिक आधार पर नहीं, बल्कि व्यक्तित्व के गुणों व योग्यता के आधार पर की जाती थी, किंतु उसके बाद जब से राज्यपालों की नियुक्ति में राजनीति संबंधित शख्स की विचारधारा और सत्तारूढ़ केंद्र के राजनीतिक दल को लाभ पहुंचाने की कसौटी पर मूल्यांकन होने लगा तब से इस महत्वपूर्ण संवैधानिक पद की गरिमा को काफी ठेस पहुंची है, आज देश के एक दर्जन से...

  • रमेश बैस बने महाराष्ट्र के नए राज्यपाल

    भोपाल। भारत की आजादी के बाद लगभग दो दशक तक देश में कहीं भी मुख्यमंत्री और राज्यपाल के बीच किसी तरह का विवाद पैदा नहीं हुआ था, उसका मुख्य कारण यह था कि राज्यपालों की नियुक्तियां राजनीतिक आधार पर नहीं, बल्कि व्यक्तित्व के गुणों व योग्यता के आधार पर की जाती थी, किंतु उसके बाद जब से राज्यपालों की नियुक्ति में राजनीति संबंधित शख्स की विचारधारा और सत्तारूढ़ केंद्र के राजनीतिक दल को लाभ पहुंचाने की कसौटी पर मूल्यांकन होने लगा तब से इस महत्वपूर्ण संवैधानिक पद की गरिमा को काफी ठेस पहुंची है, आज देश के एक दर्जन से...

  • राज्यपाल से नाराज हैं बंगाल भाजपा के नेता

    भोपाल। भारत की आजादी के बाद लगभग दो दशक तक देश में कहीं भी मुख्यमंत्री और राज्यपाल के बीच किसी तरह का विवाद पैदा नहीं हुआ था, उसका मुख्य कारण यह था कि राज्यपालों की नियुक्तियां राजनीतिक आधार पर नहीं, बल्कि व्यक्तित्व के गुणों व योग्यता के आधार पर की जाती थी, किंतु उसके बाद जब से राज्यपालों की नियुक्ति में राजनीति संबंधित शख्स की विचारधारा और सत्तारूढ़ केंद्र के राजनीतिक दल को लाभ पहुंचाने की कसौटी पर मूल्यांकन होने लगा तब से इस महत्वपूर्ण संवैधानिक पद की गरिमा को काफी ठेस पहुंची है, आज देश के एक दर्जन से...

  • पूर्व राज्यपाल केशरी नाथ त्रिपाठी का निधन

    भोपाल। भारत की आजादी के बाद लगभग दो दशक तक देश में कहीं भी मुख्यमंत्री और राज्यपाल के बीच किसी तरह का विवाद पैदा नहीं हुआ था, उसका मुख्य कारण यह था कि राज्यपालों की नियुक्तियां राजनीतिक आधार पर नहीं, बल्कि व्यक्तित्व के गुणों व योग्यता के आधार पर की जाती थी, किंतु उसके बाद जब से राज्यपालों की नियुक्ति में राजनीति संबंधित शख्स की विचारधारा और सत्तारूढ़ केंद्र के राजनीतिक दल को लाभ पहुंचाने की कसौटी पर मूल्यांकन होने लगा तब से इस महत्वपूर्ण संवैधानिक पद की गरिमा को काफी ठेस पहुंची है, आज देश के एक दर्जन से...

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